आज महात्मा गांधी जी का जन्मदिन है. आज सवाल नहीं दिया जा रहा है . आज बापू की याद में उनकी कुछ अमर उक्तियों को आपके सामने प्रस्तुत कर रहा हूं , जो आज भी अमर है.
गांधी जी की कुछ उक्तियां –
१. शक्ति शारीरिक क्षमता से उप्लब्ध नहीं होती, वह अजेय संकल्प से उत्पन्न होती है.
२. यदि आदमी सीखनी चाहे तो उसकी हर एक भूल उसे कुछ शिक्षा दे सकती है.
३. लगन के बिना किसी में भी महान प्रतिभा पैदा उत्पन्न नहीं हो सकती.
४. अहिंसा सत्य का प्राण है. उसके बिना मनुष्य पशु है.
५. जो आदमी अपनी प्रशंसा के भूखे होते हैं, वि साबित करते है कि उनमें योग्यता नहीं है. जिसमें योग्यता होती है उसका ध्यान उधर नही जाता.
६. चरित्र शुद्धि ठोस शिक्षा की बुनियाद है.
७. कुरीति के अधीन होना कायरता है, उसका विरोध करना पुरुषार्थ है.
८. जीवन में सबसे बडी कला तपस्या है।
९. अंधा वह नहीं , जिसकी आंख नहीं है. अंधा वह है, जो अपना दोष छिपाता है.
१०. प्रेम की शक्ति दंड की शक्ति से हजार गुनी प्रभाव शाली और स्थायी होती है.
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7 comments:
राष्ट्रपिता और शास्त्री जी को शत शत नमन ।
Bahut sundar uktiyan.
बापू को नमन ..उक्तियाँ अच्छी लगीं
Very nice. Good collection.Thanks.
राष्ट्रपिता और शास्त्री जी को शत शत नमन ।
अच्छी प्रस्तुति
- विजय
राष्ट्रपिता महात्मा गांधी और शास्त्री जी को शत शत नमन ।
अच्छी प्रस्तुति
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